जब St. Xaviers ने गोवा में बहाया जैनों का खून
क्या आप जानते हैं कि St. Xaviers का इतिहास केवल शिक्षा और सेवा तक सीमित नहीं है? इसके पीछे एक रक्तरंजित अतीत छुपा हुआ है, जिसे बहुत कम लोग जानते हैं। आज हम आपको बताएंगे उस 500 साल पुरानी गोवा की घटना के बारे में, जब जैनों का नरसंहार सिर्फ इसलिए हुआ क्योंकि उन्होंने धर्मांतरण से इनकार कर दिया।
राजा कुमुद और 22,000 जैनों का धर्म पर बलिदान
15वीं सदी के अंत में, गोवा में जैन धर्मावलंबी राजा कुमुद का शासन था। वह एक शांतिप्रिय और धार्मिक राजा थे। लेकिन जब पुर्तगालियों ने गोवा पर हमला किया, तो केवल जमीन ही नहीं, धर्म पर भी अधिकार जमाया गया।
St. Xaviers और उनके मिशनरियों ने गोवा में ईसाई धर्म फैलाने के लिए धमकी, लालच, और हिंसा का प्रयोग किया।
जैनों को दी गई थी अंतिम चेतावनी
कैथोलिक मिशनरियों ने राजा कुमुद और 22,000 जैनों से कहा:
“या तो 6 महीनों में ईसाई बन जाओ, या फिर मरने के लिए तैयार रहो।”
परंतु जैन समुदाय ने धर्मांतरण से स्पष्ट इनकार कर दिया। उन्होंने कहा – “हम मर जाएंगे लेकिन अपना धर्म नहीं छोड़ेंगे।”
St. Xaviers Massacre: जब निर्दोषों का खून बहाया गया
6 महीनों के बाद, St. Xaviers ने पुर्तगाली सेना के साथ मिलकर नरसंहार शुरू किया। एक खुले मैदान में पुरुषों, महिलाओं, बच्चों को बाँधकर निर्दयता से कत्ल किया गया।
वह पादरी हँसते हुए कत्ल देख रहा था, ताकि लोगों को डराकर ईसाई बनाया जा सके।
यह इतिहास क्यों जानना ज़रूरी है?
आज भी हम St. Xavier नाम पर स्कूल, कॉलेज, और संस्था में लाखों रुपए का डोनेशन देते हैं।
लेकिन बहुत कम लोग जानते हैं कि यह नाम हजारों निर्दोषों के खून से सना हुआ है।
हम अपने बच्चों को उन संस्थानों में पढ़ा रहे हैं जिनका इतिहास अत्याचार से भरा है।
आज भी हो रहा है धर्मांतरण?
भारत में कई ईसाई मिशनरियां अभी भी:
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खुलेआम धर्मांतरण करा रही हैं,
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हिंदू पर्वों को स्कूलों में मनाने नहीं देतीं,
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भारत माता की जय बोलने पर रोक लगाती हैं,
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मीडिया को भारी फंडिंग दे रही हैं ताकि उनके खिलाफ खबरें न चलें।
St. Xaviers जैसे पादरी पर मीडिया का पक्षपात और सरकार की चुप्पी
जब कोई हिंदू संत झूठे केस में फंसता है, तो मीडिया 24 घंटे खबरें चलाती है। लेकिन जब ईसाई चर्चों में दुष्कर्म होते हैं, तब मौन साध लिया जाता है।
क्या करना चाहिए हमें?
✍️ यह समय है धर्म और संस्कृति की रक्षा करने का।
✍️ हमें अपनी तारीखें, परंपराएं, वेशभूषा और भाषा को पहचानना होगा।
✍️ साथ ही, ऐसे संस्थानों के इतिहास को जानकर ही उनमें विश्वास करना होगा।
St. Xavier’s इतिहास केवल शिक्षा का नहीं, रक्त और बलिदान का भी है।
हमें अपने इतिहास को जानकर ही अपने भविष्य की दिशा तय करनी चाहिए।
स्रोत एवं लिंक
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स्त्रोत : हृदय परिवर्तन दिसम्बर 2017
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Portuguese were the first Invaders of India post Islamic invasion
पाश्चात्य विचारधारा केे गुलाम हो गये है हिंदू।हमारी मातृभाषा मे बोलना भी कई लोग पसंद नही करते।परकीय आक्रमणो की वजह सेे हम अपने आपको पाश्चात्य लोगों से inferior मानते आए है और उनका अनुकरण करने मे धन्यता महसूस करते है।इसी का परिणाम है लोग बच्चों को convent school मे पढाते है और गर्व भी जताते है चाहे उन्होंने हमपर कितना भी अत्याचार किया हो।